ग्रामीणों के आवेदन के बावजूद भी नहीं खुल रही है विभागीय कुंभनिद्रा
खोदावंदपुर: सरकार ग्रामीण क्षेत्रों में उच्च शिक्षा को बढ़ावा दे रही है.हर पंचायत में एक उच्च विद्यालय स्थापित कर रही है, परंतु पढ़ाने के लिए शिक्षकों के पदस्थापन नहीं किए जाने से सरकार की यह योजना धरातल पर दम तोड़ती नजर आ रही है. ऐसा ही नजारा खोदावंदपुर पंचायत में देखने को मिल रहा है, जहां उत्क्रमित मध्य विद्यालय मुसहरी से उत्क्रमित उच्चतर माध्यमिक विद्यालय मुसहरी बनाए गए शिक्षण संस्थान में पढ़ाने के लिए एकमात्र शिक्षक हैं.(बिहार का एक ऐसा)
विद्यालय के प्रभारी प्रधानाध्यापक रुपेश कुमार ने बताया कि वर्ष 2016 में उत्क्रमित मध्य विद्यालय मुसहरी को उच्च विद्यालय का दर्जा दे दिया गया. इस शिक्षण संस्थान में नवम एवं दशम वर्ग में छात्र छात्राओं का नामांकन शुरू हुआ, परंतु उन्हें पढ़ाने के लिए एकमात्र शिक्षक का पदस्थापन किया गया. इस शिक्षण संस्थान में पिछले 6 शैक्षणिक सत्रों से नवम एवं दशम वर्ग का क्लास संचालित किया जा रहा है. नवम एवं दशम वर्ग में नामांकन के बाद पढ़ाई के नाम पर केवल खानापूर्ति ही की जा रही है. मध्य विद्यालय के शिक्षकों के द्वारा ही वर्ग संचालन किया जा रहा है, जिससे विषयवार पढ़ाई नहीं हो रही है.(बिहार का एक ऐसा)
प्रधानाध्यापक ने बताया कि वर्तमान समय में इसके नवम एवं दशम वर्ग में कुल 102 छात्र छात्राएं नामांकित हैं. पढ़ाने के लिए एकमात्र शिक्षक हैं, जो विज्ञान विषय से जुड़े हैं. अन्य विषयों की पढ़ाई के नाम पर केवल खानापूर्ति हो रही है. विद्यालय प्रधान ने बताया कि उच्च विद्यालय के संचालन के लिए पर्याप्त वर्ग कक्ष हैं, परंतु उपस्कर, पुस्तकालय एवं प्रयोगशाला का अभाव है.इस विद्यालय में रिक्त पदों पर विषयवार शिक्षक देने की मांग विभाग के अधिकारियों से कई बार की जा चुकी है, परंतु विभाग इस ओर ध्यान नहीं दे रहा है. वहीं इस शिक्षण संस्थान में नामांकित छात्र छात्राओं ने बीईओ को सामूहिक आवेदन देकर जरूरत के अनुरूप शिक्षकों के पदस्थापन करवाने की मांग की है, ताकि बच्चों को गुणवत्तापूर्ण शिक्षा मिल सकें.