75 वें कान्स फिल्म फेस्टिवल में मैथिली फिल्म ‘धुइन’ को शामिल होने से मैथिलभाषी में खुशी की लहर, थियेटर कलाकारों के संघर्ष पर केंद्रित है मैथिली फ़िल्म धुइन
दरभंगा: मैथिली भाषा मे बनी फिल्म ‘धुइन’ को फ्रांस के कान में चल रहे 75 वें कान्स फिल्म फेस्टिवल में शामिल किया गया है. जो बिहार समेत मैथिलभाषी लोगो के लिए गर्व की बात है. वही मैथिली फिल्म का चयन से यहां के फिल्मकारों में काफी उत्साह है. 26 मई तक चलने वाले फ़िल्म महोत्सव में देश विदेश की कई फिल्में चयनित किया गया है. जिसे फ़िल्म महोत्सव दौरान निर्णायक मंडल देखेगे और बेस्ट फ़िल्म को पुरस्कृत करेंगे. (दरभंगा: 75वें कान्स फिल्म)
Read Also: रोहतास: डेहरी को जिला और नगर निगम बनने की संभावना बढ़ी, कैट और डेहरीयांश ने तेज किया जिला बनाने का मुहिम
इस कान्स फिल्म फेस्टिवल 2022 में भारत से छह फिल्मों का चयन किया गया है. इनमें रॉकेट्री – द नांबी इफेक्ट (हिंदी, अंग्रेजी, तमिल), गोदावरी (मराठी), अल्फा बीटा गामा (हिंदी), बूमबा राइड (मिशिंग), धुइन (मैथिली) और निराये थाथकलुल्ला मरम (मलयालम) भाषा की फिल्म हैं. मैथिली भाषा में बनी फिल्म ‘धुइन’ का मैथिली अर्थ धुंध होता है। इस फ़िल्म का निर्देशन दरभंगा निवासी अचल मिश्रा ने किया है. फिल्म में एक ऐसे महत्वाकांक्षी कलाकार को दिखाया गया है, जो बिहार के एक छोटे से शहर से निकलकर मुंबई में बड़े पर्दे पर छाना चाहता है. (दरभंगा: 75वें कान्स फिल्म)
इस फ़िल्म में दिखाया जाता है कि युवा के कदम थियेटर के मंच से सीधे बड़े पर्दे की छलांग लगाने को बेताब रहता है. इस बीच उसे खूब संघर्ष करना पड़ता है और इस फिल्म में इसके साथ ही कोरोना के समय देशभर में लॉकडाउन की स्थिति और इसकी वजह से आए आर्थिक संकट के दौर को बहुत प्रभावी ढंग से पर्दे पर उतारा गया है. लॉकडाउन के समय की परेशानियों संग भयावहता को फ़िल्म में दर्शक महसूस करेंगे. इस फ़िल्म को इस वर्ष जनवरी में मुंबई में हुए मुंबई इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल में दिखाया जा चुका है.